शालिनी पांडे ने उठाया पशु कल्याण का मुद्दा, कोलकाता में प्यासे घोड़े का वीडियो साझा कर जताई चिंता

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अभिनेत्री शालिनी पांडे ने हाल ही में एक वीडियो साझा कर पशु कल्याण से जुड़ी एक गंभीर समस्या की ओर लोगों का ध्यान खींचा। यह वीडियो कोलकाता का है, जिसमें एक घोड़ा बेहद कमजोर और निर्जलित अवस्था में पर्यटकों की सवारी खींचते हुए गिर पड़ा है। गर्म और उमस भरे मौसम में भारी बग्गी खींचने के दबाव से घोड़े की हालत बेहद खराब दिखाई देती है।

शालिनी ने वीडियो के साथ कैप्शन में लिखा:

“मेरा दिल लाख टुकड़ों में टूट गया है ये देखकर।
ये बेहद भयावह है!! दिल तोड़ने वाला, अमानवीय और अस्वीकार्य!

कोई भी जानवर इस तरह की पीड़ा का हकदार नहीं है। इस घोड़े को तुरंत बचाया जाना चाहिए। और बाकी उन घोड़ों को भी जो अब भी इस गर्मी, इस ट्रैफिक, इस अफरातफरी में बग्गी खींचने को मजबूर हैं।

अब समय आ गया है इस पुराने और दर्दनाक प्रथा को खत्म करने का।
आइए हम इन बग्गियों को मुंबई की तरह बैटरी से चलने वाली, क्रूरता-मुक्त विक्टोरियन-शैली की ई-बग्गियों से बदलें। कोलकाता भी कर सकता है। भारत कर सकता है। दुनिया कर सकती है।

हमें उन बेजुबानों की आवाज़ बनना होगा। अगर आप यह देख रहे हैं, तो नजरें न फेरिए। आवाज उठाइए। अधिकारियों को टैग कीजिए। इसे साझा कीजिए। आइए इस दुनिया को दयालुता से भर दें, यहीं से, अभी से!!!!

@mamataofficial @kolpolice @arddwestbengal @petaindia

BanHorseCarriages #RescueThisHorse #CrueltyFreeIndia #KindnessIsStrength #VoiceForTheVoiceless”

https://www.instagram.com/reel/DJEoR4lsSUq/?igsh=bTQxZ2I4ZGVtMDk4

शालिनी की इस पोस्ट ने शहरी क्षेत्रों में पर्यटन के लिए इस्तेमाल होने वाले जानवरों की स्थिति पर चर्चा को जन्म दिया है।

कैप्शन में अभिनेत्री ने घोड़े की हालत पर चिंता जताई और इन जानवरों की भलाई के प्रति जागरूकता फैलाने की अपील की।

जहां एक ओर भारत के कुछ हिस्सों में घोड़ा-बग्गी चलाने की परंपरा आज भी कायम है, वहीं शालिनी पांडे जैसी आवाज़ें अब इन जानवरों के कल्याण को लेकर नया दृष्टिकोण सामने ला रही हैं। उनकी पोस्ट ने पर्यटन, परंपरा और नैतिकता के बीच संतुलन को लेकर एक जरूरी बहस को जन्म दिया है, जिससे जनता और प्रशासन दोनों के बीच सोच की एक नई लहर शुरू हुई है।

इससे पहले इसी महीने शालिनी ने तेलंगाना में वनों की कटाई और उसमें मारे गए जानवरों के मुद्दे पर भी अपनी आवाज बुलंद की थी।

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