नई दिल्ली: दिल्ली के लोधी रोड स्थित श्री सत्य साईं ऑडिटोरियम में 7 दिसंबर 2025 की शाम को आयोजित संगीत वंदना 2025 ने साबित कर दिया कि असली हुनर किसी पद या दायरे का मोहताज नहीं होता। यह महज़ एक सांस्कृतिक संध्या नहीं, बल्कि प्रशासन, कानून प्रवर्तन और चिकित्सा जैसे गंभीर क्षेत्रों से जुड़ी हस्तियों के ‘सोलफुल’ टैलेंट का एक यादगार प्रदर्शन था।
अलग-अलग प्रोफेशन के धुरंधरों को एक साथ मंच पर देखना अपने आप में एक अनूठा अनुभव था, लेकिन इस शाम के असली शोस्टॉपर बने GST असिस्टेंट कमिश्नर श्री संजीव ऋषि।
जैसे ही श्री ऋषि ने मंच पर कदम रखा, उनके मुस्कुराते और सहज परफॉर्मेंस ने पूरे ऑडिटोरियम में एक नई ऊर्जा भर दी। उनके हर सुर और अंदाज में एक ऐसा अनूठा आकर्षण था कि दर्शक अपनी सीटों से खड़े होकर लगातार तालियाँ बजाने पर मजबूर हो गए। दर्शकों की आम राय थी कि, “अधिकारियों को इतने रिलैक्स्ड और ‘सोलफुल’ मूड में देखना अविश्वसनीय है! सर ने तो पूरी ‘वाइब सेट’ कर दी।”
इस सांस्कृतिक समागम में CBI DSP आशीष शर्मा की प्रभावी उपस्थिति और AIIMS के डॉक्टरों का मनमोहक और गरिमापूर्ण अंदाज़ भी दर्शनीय रहा, जिसने इस इवेंट को एक अलग ही स्तर का महत्व दिया। किसी की आवाज़ ने गहराई दी, तो किसी के सुर ने चमक बिखेरी।
‘संगीत वंदना 2025’ एक भावनात्मक गर्मजोशी और उत्सव के माहौल से भरपूर रहा, जहाँ हर कलाकार ने अपने हुनर से एक कहानी गढ़ी। इस शाम ने एक बार फिर यह संदेश दिया कि जब संगीत बोलता है, तो पदवी किनारे रह जाती है और केवल कला की असली शक्ति सामने आती है।


