गैर भाजपा शासित राज्य सरकारों को गिराने के लिए पीएम कर रहे सीबीआई-ईडी का इस्तेमाल-अरविंद केजरीवाल

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  • किसी राज्य में दूसरे दल की सरकार को काम नहीं करने देंगे और उस पर सीबीआई-ईडी छोड़ देंगे, यही है प्रधानमंत्री की कार्यशैली- अरविंद केजरीवाल
  • प्रधानमंत्री सीबीआई-ईडी से डराकर दूसरे दलों की सरकारें गिरा देते हैं, गोवा, महाराष्ट्र, कर्नाटक इसके उदाहरण हैं- अरविंद केजरीवाल
  • भाजपा में आते ही नेताओं पर लगे सारे मुकदमें खत्म हो जाते हैं, हेमंत विश्वा शर्मा, शुभेंदु अधिकारी, मुकुल राय व नारायण राणे पर लगे सारे मामले खत्म हो गए- अरविंद केजरीवाल
  • अगर मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन मेरा साथ छोड़ भाजपा में चले जाएं तो आज न वो जेल में होते और न उन पर कोई मुकदमा होता- अरविंद केजरीवाल
  • प्रधानमंत्री गवर्नर का भी इस्तेमाल कर रहे हैं, सीएम एम.के. स्टालिन, केसीआर, पिनराई विजयन, ममता बनर्जी, नीतीश कुमार गवर्नर से परेशान हैं- अरविंद केजरीवाल
  • दिल्ली के उपराज्यपाल तो देश के संविधान और सुप्रीम कोर्ट को मानते ही नहीं हैं, ऐसे देश कैसे चलेगा?- अरविंद केजरीवाल
  • सीएम अरविंद केजरीवाल ने प्रसिद्ध वकील कपिल सिब्बल के ‘इंसाफ के सिपाही’ मुहिम का किया समर्थन, देश भर के लोगों से जुड़ने की अपील

प्रधानमंत्री गैर भाजपा शासित राज्य सरकारों को गिराने के लिए सीबीआई-ईडी का इस्तेमाल कर रहे हैं। पीएम की कार्यशैली हो गई है कि किसी राज्य में दूसरे दल की सरकार को काम नहीं करने देंगे और उस पर सीबीआई-ईडी छोड़ देंगे। सीबीआई-ईडी से डराकर दूसरे दलों की सरकारें गिरा देते हैं। गोवा, महाराष्ट्र, कर्नाटक इसके उदाहरण हैं। वहीं, भाजपा में आते ही नेताओं पर लगे सारे मुकदमें खत्म हो जाते हैं। जैसे हेमंत विश्वा शर्मा, शुभेंदु अधिकारी, मुकुल राय व नारायण राणे पर लगे सारे मामले खत्म हो गए। अगर मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन मेरा साथ छोड़ भाजपा में चले जाएं तो आज न वो जेल में होते और न उन पर कोई मुकदमा होता। इसी तरह, प्रधानमंत्री गवर्नर का भी इस्तेमाल कर रहे हैं। सीएम एम.के. स्टालिन, केसीआर, पिनराई विजयन, ममता बनर्जी, नीतीश कुमार गवर्नर से परेशान हैं, जबकि दिल्ली के उपराज्यपाल तो देश के संविधान और सुप्रीम कोर्ट को मानते ही नहीं हैं। ऐसे देश कैसे चलेगा? कई विपक्षी दलों द्वारा सीबीआई-ईडी के दुरुपयोग को लेकर प्रधानमंत्री को लिखी गई चिट्ठी पर ‘‘आप’’ के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने प्रतिक्रिया देते हुए आज यह बातें कहीं।

किसी भी राज्य सरकार के साथ खड़े होने और उसको अच्छा काम करने में मदद करने की जिम्मेदारी प्रधानमंत्री की होती है- अरविंद केजरीवाल

मीडिया से बातचीत करते हुए ‘‘आप’’ के राष्ट्रीय संयोजक एवं दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा कि इस वक्त प्रधानमंत्री की कार्यशैली यह हो गई है कि अगर देश के किसी भी राज्य में भाजपा के अलावा किसी दूसरे दल की सरकार है, तो वो उस सरकार को काम नहीं करने देंगे। यह बहुत ज्यादा खतरनाक है। प्रधानमंत्री किसी भी देश के एक फादर फिगर की तरह होते हैं। चुनाव में हम आपस में लड़ें, लेकिन चुनाव के बाद अगर किसी राज्य में एक बार सरकार बन जाए तो उस सरकार को पूरी तरह से सपोर्ट देने की जिम्मेदारी, उसके साथ खड़े होने और सरकार को अच्छा काम करने में मदद करने की जिम्मेदारी प्रधानमंत्री की होती है। लेकिन हमारे देश के प्रधानमंत्री ने ठान लिया है कि अगर भाजपा को वोट नहीं दोगे और दूसरी पार्टी की सरकार बनाओगे तो उस सरकार को किसी भी हाल में काम नहीं करने देंगे। प्रधानमंत्री एक काम यह करते हैं कि अगर भाजपा के अलावा किसी दूसरे दल की सरकार बन जाए, तो उसके सारे नेताओं के ऊपर ईडी-सीबीआई छोड़ देते हैं। उनको गिरफ्तार कर लेते हैं, उनको तरह-तरह से प्रताड़ित करते हैं, उनको परेशान करते हैं और उनकी पार्टी तोड़ कर सरकार गिरा देते हैं। पूरे देश में कई जगह यह देखने को मिला है। गोवा, महाराष्ट्र, कर्नाटक में देखने को मिला। जिन राज्यों में गैर भाजपा की सरकार बनती है, वहां पर ईडी-सीबीआई को छोड़ कर उस राज्य की सरकार को गिरा दिया जाता है।

सीबीआई-ईडी का इस्तेमाल केवल विपक्ष को तोड़ने और भाजपा की जबरदस्ती सरकार बनाने के लिए किया जा रहा है- अरविंद केजरीवाल

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ईडी-सीबीआई को छोड़कर नेताओं को डराते हैं और अगर वो नेता भाजपा में आ जाए, तो सारे उसके मामले बंद हो जाते हैं। हेमंत विश्वा शर्मा पर पहले सीबीआई और ईडी के कई मामले थे। वो शारदा कांड में फंसे थे और भाजपा में आते ही उनके सारे मामले खत्म हो गए। उन्होंने कहा कि हेमंत विश्वा शर्मा या तो पहले निर्दाेष थे, या फिर दोषी तो थे लेकिन भाजपा में आ गए तो उनके सारे मामले खत्म हो गए। इसी तरह शुभेंदु अधिकारी, मुकुल रॉय और नारायण राणे का भी मामला है। उद्धव ठाकरे की पार्टी से कई सारे विधायक तोड़े गए। कहा जाता है कि उन विधायकों में से कइयों पर सीबीआई और ईडी के मुकदमे चल रहे थे। उन विधायकों को भाजपा में आते ही उनके सभी मामलों को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया। इसलिए सीबीआई-ईडी का इस्तेमाल भ्रष्टाचार के खिलाफ नहीं कर रहे हैं, बल्कि चुनी हुई सरकारों को गिराने और विपक्षी पार्टियों को तोड़ने के लिए कर रहे हैं। दिल्ली के अंदर इन्होंने मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन को गिरफ्तार किया। शुरूआत में इन्होंने मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन के पास कई लोग भेजे और उनको मेरा (केजरीवाल) साथ छोड़कर भाजपा में आने के लिए ऑफर दिया। आज अगर दोनों मेरा साथ छोड़कर भाजपा में चले जाएं तो वो जेल में नहीं होते और उन कोई मुकदमा भी नहीं होता। जाहिर तौर पर दोनों के उपर लगे सभी मुकदमें झूठे हैं और दोनों डटें भी हैं। ईडी-सीबीआई का इस्तेमाल केवल विपक्ष को तोड़ने और भाजपा की जबरदस्ती सरकार बनाने के लिए किया जा रहा है।

प्रधानमंत्री गैर बीजेपी सरकारों को काम नहीं करने देंगे, तो यह देश के लिए खतरनाक है- अरविंद केजरीवाल

‘‘आप’’ के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने कहा कि ईडी-सीबीआई के अलावा गवर्नर (राज्यपाल) का इस्तेमाल किया जा रहा है। मै तमिलनाडु के सीएम एम.के. स्टालिन से बात कर रहा था, तो पता चला कि 20 से ज्यादा बिल विधानसभा ने पास कर दिए हैं, लेकिन उस पर गवर्नर अपना हस्ताक्षर नहीं कर रहे। इसी तरह तेलंगाना के सीएम के. चंद्रशेखर राव ने कल सुप्रीम कोर्ट में केस किया है कि गवर्नर हमारे बहुत सारे बिल लेकर बैठे हैं और उस पर हस्ताक्षर नहीं कर रहे हैं। वहीं, केरल के सीएम पिनराई विजयन द्वारा विश्वविद्यालयों में नियुक्त कई सारे वाइस चांसलर की नियुक्ति को गवर्नर ने रद्द कर दी। पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी और बिहार के सीएम नीतीश कुमार परेशान हैं। दिल्ली के एलजी सुप्रीम कोर्ट और संविधान को मानते ही नहीं हैं। एलजी खुलेआम कहते घूम रहे हैं कि मैं संविधान और सुप्रीम कोर्ट को नहीं मानता। ऐसे देश कैसे चलेगा। अगर देश का प्रधानमंत्री गैर भाजपा सरकारों को काम नहीं करने देंगे और रोज अवरोध पैदा करेंगे, तो यह देश के लिए बहुत खतरनाक स्थिति है।

कपिल सिब्बल की ‘इंसाफ के सिपाही’ की पहल बहुत अच्छी है, उनके साथ जुड़ें- अरविंद केजरीवाल

आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक एवं दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि कपिल सिब्बल हमारे देश के जाने-माने बहुत बड़े वकील हैं। वकील होने के साथ-साथ सामाजिक और राजनीतिक मुद्दों के ऊपर वो काफी सक्रिय रहते हैं। कपिल सिब्बल ने ‘इंसाफ के सिपाही’ नाम से पूरे देश में एक मुहिम शुरू की है। इस मुहिम जरिए वे देश के अलग-अलग हिस्सों से अलग-अलग तबके के लोगों को जोड़ना चाहते हैं। खासकर वो इस मुहिम से वकीलों को जोड़ना चाहते हैं। अगर दुनिया का इतिहास देखें तो अमेरिकी व फ्रांस की क्रांति और भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में वकीलों ने बढ-चढ़ कर हिस्सा लिया था। उन्होंने वकीलों को जोड़ने के लिए पदेंािमेपचंीपण्बवण्पद वेबसाइट लांच की है। मैं देशभर के वकीलों और आम जनता से भी अपील करूंगा कि कपिल सिब्बल की यह बहुत अच्छी पहल है, उनके साथ जुड़ें। देश के अंदर जहां भी किसी के साथ किसी भी तरह की नाइंसाफी हो रही है उस नाइंसाफी में न्याय दिलाने के लिए पूरा पूरा प्रयत्न करें।

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