*यह कहना अतिश्योक्ति नहीं होगा कि भ्रष्टाचार, सेना विरोध और अराजकता अरविंद केजरीवाल की पहचान है – वीरेन्द्र सचदेवा
*स्थापना के 11वें वर्ष में राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा पाने को केजरीवाल एक उपलब्धि की तरह दर्शा रहे हैं जबकि भाजपा ने तो स्थापना के पहले वर्ष में ही खुद को राष्ट्रीय पार्टी के रुप में स्थापित कर लिया था – वीरेन्द्र सचदेवा
दिल्ली भाजपा के अध्यक्ष श्री वीरेन्द्र सचदेवा ने कहा है कि आम आदमी पार्टी नेता अरविंद केजरीवाल भावनात्मक चित्रण करके लोगों को गुमराह करने की कला में माहिर नेता हैं। वह गत दो दिन से ऐसा दर्शा रहे हैं मानो स्थापना के 11 वर्ष में राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा मिलना कोई बहुत बड़ी उपलब्धि हो। खुद का गुणगान करते हुए अरविंद केजरीवाल यह भी भूल गए कि भारतीय जनता पार्टी अपनी स्थापना के पहले वर्ष में ही राष्ट्रीय पार्टी के रुप में स्थापित हो गई थी और कल जिन दो पार्टियों टी.एम.सी. और एन.सी.पी. का राष्ट्रीय दर्जा खत्म हुआ है, उन्होंने भी स्थापना के कुछ ही वर्षों में राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा पा लिया था।
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष ने कहा है कि आज अपने संबोधन में अरविंद केजरीवाल ने एक बात सच बोली कि स्थापना के वक्त उनके पास पैसे नहीं थे, पर वह यह बताना भूल गए कि स्थापना के तुरंत बाद उन्हें फोर्ड फाउंडेशन के अलावा अनेक शैल कंपनियों से चंदा मिला तो सत्ता में स्थापित होने के कुछ वर्ष बाद तो उन्हें भ्रष्टाचार के चलते शराब माफिया से बड़ा चंदा मिलने लगा और तो और मशहूर ठग सुकेश चन्द्रशेखर भी आम आदमी पार्टी को बड़ा चंदा देने की बात बताते रहे हैं।
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष ने कहा है कि अरविंद केजरीवाल का दावा कि कट्टर ईमानदारी, कट्टर देशभक्ति और इंसानियत आम आदमी पार्टी के तीन स्तम्भ हैं, पूरी तरह हास्यास्पद है क्योंकि उनकी ईमानदारी कैसी है यह मनीष सिसोदिया एवं सत्येन्द्र जैन पर लगे आर्थिक अपराध बता रहे हैं। उनकी देशभक्ति कितनी कट्टर है यह तब पता लगा जब उन्होंने देश की सेना से उसकी पाकिस्तान पर कार्यवाही के सबूत मांगे और इंसानियत उनकी कितनी ऊंची है यह रमजान के महीने में हज हाउस खाली कराने के उनके निर्णय से दिखाई देता है। यह कहना अतिश्योक्ति नहीं होगा कि भ्रष्टाचार, सेना विरोध और अराजकता अरविंद केजरीवाल की पहचान है।
श्री सचदेवा ने कहा है कि केजरीवाल का दावा कि वह पॉजिटिव राजनीति करते हैं पूरी तरह से खोखला है क्योंकि देश गवाह है कि वह केवल आरोपों और राजनीतिक प्रलोभनों की राजनीति कर आगे बढ़े हैं, गत 8 साल में उनकी सरकार ने दिल्ली के विकास को ठप्प कर दिया है और मात्र एक साल में पंजाब को वापस अराजकता की ओर धकेल दिया है।